आगर मालवा जिले में कई सारे धार्मिक पर्यटन स्थल हैं जो देश प्रदेश में प्रसिद्ध हैं उन्हीं में से एक है केवड़ा स्वामी मंदिर। आज के इस लेख में हम केवड़ा स्वामी मंदिर के बारे जानेंगे, आपको यह जानकर काफ़ी हैरानी होगी की इस मंदिर में बाबा भैरव की मूर्ति को जंजीरों से बांधकर रखा गया है, इसके पीछे कई सारे किवदंतियाँ, पौराणिक कथाएँ प्रचलित हैं जिनके बारे में इस लेख भी भी उल्लेख किया गया है।अगर आप केवड़ा स्वामी मंदिर के बारे में जानना चाहते हैं तो इस लेख को अंत तक पढ़ते रहें।
केवड़ा स्वामी मंदिर
केवड़ा स्वामी मंदिर जिसे भैरवनाथ मंदिर भी कहते हैं, यह आगर के मोतीसागर तालाब के समीप शासकीय पशु प्रजनन प्रक्षेत्र आगर के पास स्थित है।इस मंदिर के पास ही एक केवड़े के फूलों का बगीचा है, जिसमें से अक्सर केवड़े की फूलों की ख़ुशबू आती है इस वजह से ही इस मंदिर का नाम केवड़ा स्वामी मंदिर पड़ा।
हर साल भैरव पूर्णिमा ओर अष्टमी में भारी संख्या में भक्त आते हैं ओर बाबा भैरव के दर्शन करते हैं। इस दौरान भक्त मंदिर परिसर में ही दाल बाटी बनाते हैं और बाबा भैरव को मदिरा के साथ दाल बाटी अर्पित करते हैं।
इस मंदिर में जिन परिवारों के कुल देवता बाबा भैरव हैं उन परिवार के लोग विवाह होने पर आशीर्वाद लेने आते हैं। लोगों की मान्यता है की बाबा के दर्शन करने सभी कार्य सफल होते हैं, और बाबा भैरव की पूजा करने पर नकारात्मक शक्तियाँ हमेशा दूर रहती है।
आपको जानकर काफ़ी आश्चर्य होगा की इस मंदिर में स्थित बाबा भैरव की मूर्ति को जंजीरों से बांधा गया है। इसके पीछे भी रोचक कहानी है: ऐसा कहा जाता है कि जब बाबा भैरव छोटे थे तब बच्चों को उठाकर पास के तालाब में फेंक दते थे, इस वजह से लोग परेशान हो गए थे और सोच विचार करने के बाद बाबा भैरव को जंजीरों से बांध दिया गया ओर मूर्ति के सामने एक बड़े से लकड़ी को रखा गया है ताकि वो बाहर न जा पाएँ।
केवड़ा स्वामी मंदिर का इतिहास
केवड़ा मंदिर का इतिहास बेहद ही पुराना है, इस मंदिर में को वर्ष 1424 में बनाया गया। इस मंदिरकी मूर्ति की स्थापना राजा राघव देव की थी। ऐसा माना जाता है की गुजरात के झाला राजपूत परिवार अपने कुल देवता को लेकर जा रहे थे।रास्ते में तालाब के सामने रथ का चक्का धँस गया और भी से बाबा भैरव यहाँ हैं।
केवड़ा स्वामी भैरवनाथ मंदिर कैसे पहुँचें
केवड़ा स्वामी भैरवनाथ मंदिर पहुँचना बेहद ही आसान है, आप अपने निजी वाहनों की माध्यम से आसानी से पहुँच सकते हैं।
- हवाई अड्डा : निकटतम हवाई अड्डा देवी अहिल्या बाई होलकर हवाई अड्डा इंदौर, जो 126 किमी दूर है।
- रेलवे स्टेशन: निकटतम रेलवे स्टेशन उज्जैन 68 किमी दूर है जो देश के प्रमुख शहरों से जुड़ा हुआ है।
- सड़क मार्ग: आगर मालवा सड़क से अच्छी तरह से जुड़ा हुआ है। आसानी से वाहनों की माध्यम से पहुँच सकते हैं।
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